Thursday, October 29, 2015

अरुण जेटली ने महागठबंधन को बताया 'हताशा का गठबंधन'

पटना (सं.सू.)। केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने लालू, नीतीश, कांग्रेस के महागठबंधन को 'हताशा का गठबंधन' करार दिया है। साथ ही कहा कि कांग्रेस अपना वजूद बचाने की लड़ाई लड़ रही है।

पटना में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में जेटली ने कहा, जब नीतीश हमारे साथ थे तो हमने उन्हें ड्राइवर सीट पर बिठाया था और नीतीश का मक़सद लालू को जेल भिजवाना था, लेकिन आज सत्ता के लिए दोनों साथ आ गए। जेटली ने आरजेडी को परिवार की पार्टी बताया तो नीतीश कुमार की जेडीयू को हताश।

अरुण जेटली ने सत्ताधारी महागठबंधन को हताश लोगों का जमावड़ा करार देते हुए कहा कि जनता दल (युनाइटेड) के लिए यह चुनाव अवसरवादी राजनीति का आखिरी दांव है। वहीं राष्ट्रीय जनता दल (राजद) की पुरानी पीढ़ी जब चुनाव लड़ने में असमर्थ हो गई तब नई पीढ़ी को खड़ा करने के लिए वह इस चुनाव में मैदान में उतरी है।

जेटली ने बिहार चुनाव के तीसरे चरण के मतदान के बाद भाजपा को अकेले बहुमत मिलने का दावा करते हुए कहा कि अगले दो चरणों में मतदाता राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को वोट देंगे।

उन्होंने इस चुनाव को प्रभावित करने वाले कारणों का जिक्र करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की लोकप्रियता लोगों को राजग की ओर आकर्षित कर रही है। लोग यह भी चाहते हैं कि केंद्र व राज्य सरकार साथ मिलकर काम करे, इसलिए भी बिहार के लोग राजग की ओर आकर्षित हो रहे हैं।

उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार के लालू प्रसाद से हाथ मिला लेने के बाद लोगों को लगने लगा है कि नीतीश विकास के एजेंडे से भटक गए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि बिहार के युवा जातीय और सामाजिक एजेंडे से ऊपर उठकर मतदान कर रहे हैं, जो राजग के पक्ष में है।

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