नई दिल्ली (सं.सू.)। जनता दल (यू) के नए अध्यक्ष नीतीश कुमार ने सभी विपक्षी पार्टियों से साथ आने की अपील की है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एडवांटेज कॉन्क्लेव 2016 बिहार के मंच पर शनिवार को कहा, ” अगर हमें उन्हें( बीजेपी) को हराना है तो सभी गैर-बीजेपी पार्टियों को साथ आना होगा। अगले लोकसभा चुनाव में बिखरे हुए मतों से काम नहीं चलेगा” इससे दो दिन पहले भी नीतीश कुमार ने कहा था अगले लोकसभा चुनाव में बीजेपी इतिहास नहीं दोहरा पाएगी। इसके आलावा संघ पर टिप्पणी करते हुए नीतीश ने कहा, “आज जो भगवा झंडा फैहराते हैं वो तिरंगे की बात करते हैं।” भारत माता की जय के मुद्दे पर बोलते हुए नीतीश ने कहा, ” मैं जानना चाहता हूं कि भारत की स्वतंत्रता संघर्ष में संघ का क्या योगदान रहा है। राष्ट्रवाद और देशभक्ति के नारों पर इस तरह बहस करना गैर जरूरी है।”
नीतीश ने सभी गैर बीजेपी पार्टियों से साथ आने की अपील करते हुए कहा, ” लोकतंत्र खतरे में हैं। सभी गैर बीजेपी दलों को साथ आना होगा उन्हें हराने के लिए। अलग-अलग लड़ने से बात नहीं बनेगी। लोहिया ने सभी गैर कांग्रेसी दलों को साथ लाने के लिए एक मंच तैयार किया था। अब सभी पार्टियों को बीजेपी के खिलाफ एक होने की जरुरत है। बीजेपी ने तीनों प्रमुख नेताओं अटल बिहारी, लाल कृष्ण आडवानी और मुरली मनोहर जोशी को पार्टी से किनारे कर दिया गया है। अब पार्टी और ताकत ऐसे लोगों के हाथों में चली गई है जिनकी धर्मनिरपेक्षता और लोकतंत्र में आस्था नहीं है।”
पीएम मोदी की तरफ इशारा करते हुए नीतीश ने कहा, “मैं किसी व्यक्ति के खिलाफ नहीं हूं। लेकिन 2014 के आम चुनाव में जनता से कई सारे वादे किए गए थे। क्या काला धन आ गया? क्या गरीब को 15 लाख रुपए मिल गए? मैंने जो 2015 में वादे किए थे वो भी अभी अधूरे हैं लेकिन मैंने अपना पहला वादा पूरा किया है शराब पर पाबंदी लगाकर। और एक-एक करके मैं बाकी के वादे भी पूरा करुंगा। कर्पूरी ठाकुर जब मुख्यमंत्री थे तब उन्होंने भी ऐसे ही शराब पर रोक लगाई थी लेकिन उन्हें बाद में अपना फैसला वापस लेना पड़ा। हम शराब बंदी कानून में सुधार के लिए सभी तथ्यों पर विचार कर रहे हैं। हमें जो रिपोर्ट्स मिल रही हैं वो बताती हैं कि गांवों में घरेलू हिंसा में कमी आई है। जो पति पहले शराब के नशे में पड़ा रहता था अब किचन में अपनी पत्नी की मदद करता है।”
नीतीश ने सभी गैर बीजेपी पार्टियों से साथ आने की अपील करते हुए कहा, ” लोकतंत्र खतरे में हैं। सभी गैर बीजेपी दलों को साथ आना होगा उन्हें हराने के लिए। अलग-अलग लड़ने से बात नहीं बनेगी। लोहिया ने सभी गैर कांग्रेसी दलों को साथ लाने के लिए एक मंच तैयार किया था। अब सभी पार्टियों को बीजेपी के खिलाफ एक होने की जरुरत है। बीजेपी ने तीनों प्रमुख नेताओं अटल बिहारी, लाल कृष्ण आडवानी और मुरली मनोहर जोशी को पार्टी से किनारे कर दिया गया है। अब पार्टी और ताकत ऐसे लोगों के हाथों में चली गई है जिनकी धर्मनिरपेक्षता और लोकतंत्र में आस्था नहीं है।”
पीएम मोदी की तरफ इशारा करते हुए नीतीश ने कहा, “मैं किसी व्यक्ति के खिलाफ नहीं हूं। लेकिन 2014 के आम चुनाव में जनता से कई सारे वादे किए गए थे। क्या काला धन आ गया? क्या गरीब को 15 लाख रुपए मिल गए? मैंने जो 2015 में वादे किए थे वो भी अभी अधूरे हैं लेकिन मैंने अपना पहला वादा पूरा किया है शराब पर पाबंदी लगाकर। और एक-एक करके मैं बाकी के वादे भी पूरा करुंगा। कर्पूरी ठाकुर जब मुख्यमंत्री थे तब उन्होंने भी ऐसे ही शराब पर रोक लगाई थी लेकिन उन्हें बाद में अपना फैसला वापस लेना पड़ा। हम शराब बंदी कानून में सुधार के लिए सभी तथ्यों पर विचार कर रहे हैं। हमें जो रिपोर्ट्स मिल रही हैं वो बताती हैं कि गांवों में घरेलू हिंसा में कमी आई है। जो पति पहले शराब के नशे में पड़ा रहता था अब किचन में अपनी पत्नी की मदद करता है।”
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